यात्रा का महत्व पर निबंध। Importance of Journey in Hindi : यात्रा हमें किताबी ज्ञान से व्यावहारिक ज्ञान पर लाती है। हम यात्रा द्वारा कल्पना से निकलकर वास्तविकता में आते हैं। यात्रा हमारे जीवन की नीरसता को दूर करती है। इस प्रकार यात्रा का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। एक गुणी यात्री विभिन्न लोगों के जीवन में स्वयं को देखता है। वह उनके रीति-रिवाजों से पर्यावरण पर पडने वाले प्रभाव से स्वयं को परखता है। वह आसानी से अन्यों का दृष्टिकोण समझ सकता है। यात्रा द्वारा मानसिक दृष्टिकोण खुलता है।
यात्रा का महत्व पर निबंध। Importance of Journey in Hindi
प्रस्तावना– पुस्तकों में हम मात्र दूसरों के विचारों, अनुभवों को
पढ़ते हैं। इस प्रकार उपार्जित ज्ञान लिखित रूप में होता है। हम सिर्फ लिखित ज्ञान
से जीवन में सफल नहीं हो सकते। हमें अन्य व्यक्तियों की आदतों और उनके रहने के
ढंगों को जानना चाहिए और ऐसा सिर्फ याता द्वारा ही संभव है। यात्रा
हमें किताबी ज्ञान से व्यावहारिक ज्ञान पर लाती है। हम यात्रा द्वारा कल्पना से
निकलकर वास्तविकता में आते हैं। यात्रा हमारे जीवन की नीरसता को दूर करती है। इस प्रकार यात्रा का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। पर्यटन की अनेक विशेषताएँ हैं उनमें से कुछ निम्न
प्रकार हैं
सँकरा
दृष्टिकोण- यदि कोई व्यक्ति घर से
बाहर नहीं जाता है तो उसका दृष्टिकोण बहुत सँकरा होता है। वह सबसे अच्छा रहने के
लिए स्वयंके मार्ग का अनुभव करता है। वह मानव के जीवन पर पर्यावरण के पड़ने वाले
प्रभाव को समझने में असमर्थ होता है लेकिन एक गुणी यात्री विभिन्न लोगों के जीवन
में स्वयं को देखता है। वह उनके रीति-रिवाजों से पर्यावरण पर पडने वाले प्रभाव से
स्वयं को परखता है। ठण्डे प्रदेशों में रहने वाले लोग क्यों माँस खाते और शराब
पीते हैं ? जब वह इनके सम्पर्क में आता है तो वह सीखता है कि हल्की सी ठण्ड माँस
खाने को और शराब पीने को आवश्यक बनाती है। वह आसानी से अन्यों का दृष्टिकोण
समझ सकता है। यात्रा द्वारा मानसिक दृष्टिकोण खुलता है।
अनेक
कठिनाईयाँ- जब व्यक्ति अपने घर से
दूर होता है तो उसके समक्ष अनेक कठिनाई आती हैं। कभी-कभी वह रहने के लिए सुविधाजनक
स्थान भी नहीं ढूँढ़ पाता है। कभी-कभी बाजार में उसके स्वादानुसार भोजन उपलब्ध
नहीं होता है। किसी अवसर पर वह व्यक्तियों से मिलता है तो उनकी भाषा समझ पाने में
असमर्थ रहता है। वह नि:सहाय अनुभव करता है उसके उसके सारे रुपये खर्च हो चुके होते
हैं तो वह स्वयं को बड़ी कठिनाई में पाता है। जब वह ऐसी समस्याओं का सामना करता है
तो फिर उसका व्यावहारिक ज्ञान काम आता है। वह प्रत्येक नयी कठिनाई का हल ढूंढ़
निकालता है। यह अध्ययन पुस्तकों के अध्ययन से अधिक मूल्यवान होता है।
यात्रा
और शिक्षा- शिक्षा वही अच्छी होती हैं
जिसे पढ़कर मनुष्य स्थिति अनुसार सामंजस्य स्थापित करे। हम इस योग्यता को पुस्तक
से प्राप्त नहीं कर सकते जबकि यात्रा से प्राप्त कर सकते हैं। हमें अपनी समस्याओं
का सामना करना आना चाहिए। हमें स्वयं को नवीन स्थितियों में डालना आना चाहिए।
यात्रा हमें अनेक समस्याओं का सामना करना सिखाती है। यात्रा द्वारा हम नवीन
स्थितियों से सामंजस्य स्थापित करना सीखते हैं। यह यात्रा की सबसे महान विशेषता
है।
सावधान
रहो- यात्री को हमेशा सतर्क रहना चाहिए जब
भी वह अपनी यात्रा पर हो। उसे अपनी इच्छाओं का त्याग करना चाहिए। हमें अन्य से वही
विशेषताएँ ग्रहण करनी चाहिए जो कि अच्छी हैं। उसे अपने अनुभवों को बढ़ा-चढ़ाकर
प्रस्तुत नहीं करना चाहिए। उसे अपने अनुभव को वास्तविकता के आधार पर बताना चाहिए।
यात्रा युवाओं के लिए जितनी आवश्यक है उतनी ही वृद्धों के लिए उपयोगी है।
उपसंहार
पर्यटन में वृद्धि करने के लिए सरकार
ने पर्यटन पर 1986 में राष्ट्रीय कमेटी का निर्माण किया। इस कमेटी ने पर्यटन से
सम्बन्धित अनेक अध्ययनों का विकास किया। इस कमेटी ने पर्यटन से सम्बन्धित सूचना
1988 में सरकार को दी। इस सूचना में बताया गया कि पर्यटन में वृद्धि करने के लिए
सभी राज्यों का योगदान आवश्यक है। मई 1992 में सरकार ने पर्यटन पर महत्वपूर्ण
वृद्धि प्राप्त की। पर्यटन द्वारा भारत में विदेशी विनिमय का आगमन हुआ। अनेक
प्रयत्न के बाद, पर्यटन उद्योग तीसरा सबसे बड़ा निर्यात उद्योग बन चुका है।
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