पुस्तकालय पर अनुच्छेद। Pustakalaya par Anuched in Hindi
पुस्तकालय ज्ञान के मंदिर हैं। उन्नति के सभी सूत्र पुस्तकालयों में रखी पुस्तकों में सुरक्षित हैं। कोई भी विकास का इच्छुक व्यक्ति इनकी सहायता से मनोवांछित उन्नति कर सकता है। आधुनिक पुस्तकालय बहुत ही व्यवस्थित होते हैं। इसमें लाखों की संख्या में पुस्तकें संग्रहित होती हैं। ये सारी पुस्तकें विषयानुसार अलमारी में अलग-अलग राखी होती हैं। विद्यार्थियों को आरम्भ से ही पुस्तकालय का उपयोग करना सीखना चाहिए। उन्हें चाहिए की वे पुस्तकालय की नियमावली और व्यवस्था भली-भांति जान लें और उसे बनाये रखने का दृढ संकल्प करें। छात्रों को चाहिए की पुस्तकों को समय पर वापस करें। किसी और को भी उस पुस्तक की आवश्यकता हो सकती है। पुस्तकों को संभाल कर रखना चाहिए। किसी प्रकार के निशान या नोट पुस्तकालय की पुस्तकों पर नहीं लिखना चाहिए। कुछ लोग पुस्तकों के पन्ने या चित्र फाड़ लेते हैं और अपने पास रख लेते हैं जो की पूरी तरह गलत है। कुछ पुस्तकें दुर्लभ होती हैं, उन्हें चुराकर अपने पास रख लेना सामाजिक संपत्ति की चोरी समझा जाता है। मंदिर और पुस्तकालय दोनों में ही प्रवेश करते समय मन में पंक्ति की भावना होनी चाहिए। पुस्तकालय में किसी प्रकार का शोर-गुल या बातचीत नहीं करनी चाहिए। गरिमामय व्यवहार से ही पुस्तकालय का सदुपयोग हो सकता है।
सम्बंधित पोस्ट पुस्तकों का महत्त्व पर अनुच्छेद लेखन भी पढ़ें।
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nice easy to copy
ReplyDeleteGOOD .
DeleteGOOGLE IS BEST THANK YOU GOOGLE BRO.
DeleteVery beautiful
ReplyDeleteYa you are right 👍👍nice Google
Deleteबहुत ही उपयोगी (*to the point*)विडियो
ReplyDeleteThanks
DeletePlease any one reply me
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